फरीदकोटः बीते दिनों सीआईए स्टाफ प्रभारी इंस्पेक्टर नरिंदर सिंह गिल के गोली मारकर सुसाइड करने में नया खुलासा हुआ है। एसएसपी फरीदकोट राज बचन सिंह ने बताया कि पुलिस को 18 मई को गांव संगराहुर वासी गुरचरण सिंह ने शिकायत दी थी कि गांव पंजावा मुक्तसर में भांजा लाडी से 16 मई को मिलने गया। 18 मई काे वह गांव रत्तीरोड़ी चला गया, जहां से लापता हो गया। सदर पुलिस ने जींद के रणबीर सिंह, गांव लंगेआणा मोगा के बिट्टा, गांव ढूडी के बलजीत सिंह, गांव रत्तीरोड़ी के बाज सिंह व कपूरथला की महिला परम पर अपहरण का केस दर्ज किया था। एसएसपी के मुताबिक 18 मई की रात साढ़े नाै बजे गांव रत्तीरोड़ी के परमजीत सिंह ने सूचना दी कि गांव के गुरुद्वारा साहिब में लाडी, रेशम व एक अन्य साथी अवैध असलहा समेत बैठे हैं। इंस्पेक्टर नरिंदर सिंह लाडी समेत तीनों को हिरासत में लेकर आए और ऑफिस में छोड़ खुद चुनाव ड्यूटी पर चले गए। उसी रात लाडी ने चादर से फंदा लगा लिया। मामले को छिपाने व सबूत नष्ट करने को इंस्पेक्टर नरिंदर सिंह सुबह करीब 5.30 बजे शव को उठाकर कहीं ले गया।
लाडी के परिजनों काे उसके हिरासत में होनेे की जानकारी मिली तो उन्होंने नरिंदर गिल से कई बार संपर्क किया लेकिन वह उन्हें टरकाता रहा। बाद में शाम करीब 5 बजे उसने भी खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली। अभी तक शव की बरामदगी नहीं हो पाई है। इधर मंगलवार शाम करीब 6 बजे लाडी का शव लौटाने और अपहरण मामले में हिरासत में लिए गए दो अन्य युवकों को छोड़ने के लिए परिजनों ने धरना दे रोड जाम कर दी। फरीदकोट के एसएसपी के मुताबिक लाडी के सुसाइड के बाद उसका शव खुर्दबुर्द करने के खुलासे के बाद पुलिस ने पहले से दर्ज अपहरण के मामले में आत्महत्या के लिए मजबूर करने व सबूत मिटाने के आरोप में इंस्पेक्टर नरिंदर को भी अन्य आरोपियों के साथ नामजद कर लिया है।