चमोली: देवभूमि उत्तराखंड में कल (रविवार) कुदरत का ऐसा कहर टूटा जिसने भारी तबाही पहुंची। चमोली में ग्लेशियर टूटने के कारण पानी का सैलाब कई घरों को बह ले गया। इस हादसे में कई लोग लापता हो चुके हैं। ऋषि गंगा पवार प्लांट पूरी तरह से तबाह हो गया। हादसे में लापता हुए लोगों की तलाश के लिए कल दिनभर से रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। अबतक NDRF की टीम ने 15 लोगों के शव बरामद कर लिए हैं, जबकि 170 से ज्यादा लोग लपाता बताए जा रहे हैं। ऐसी आशंका है कि ये लोग मलबे में दबे हो सकते हैं। स्थानीय प्रशासन से लेकर सेना तक अब रेस्क्यू में जुटी है और राज्य-केंद्र सरकार मिलकर काम कर रही हैं।
खबरों के अनुसार तपोवन में दूसरे टनल में अभी भी 30 लोग फंसे हुए हैं। गंगा की सहायक नदियों–धौली गंगा, ऋषि गंगा और अलकनंदा में बाढ़ से उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में दहशत फैल गई और बड़े पैमाने पर तबाही हुई। एनटीपीसी की तपोवन-विष्णुगाड पनबिजली परियोजना और ऋषिगंगा परियोजना पनबिजली परियोजना को बड़ा नुकसान हुआ तथा उनके कई मजदूर सुरंग में फंस गए।
उत्तराखंड के चमोली में ग्लेशियर टूटने से हुई भारी तबाही के बीच उत्तराखंड सरकार ने कुछ हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं। जो लोग टूटे हुए ग्लेशियर के कारण प्रभावित क्षेत्र में फंसे हैं, वे लोग 1070 या 9557444486 पर संपर्क करें। साथ ही उत्तराखंड के सीएम त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने लोगों से अपील की है कि कोई भी पुराने वीडियो डालकर किसी प्रकार की अफवाह न फैलाएं।