एकतरफा प्रेम में सिरफिरे आशिक ने बुधवार की शाम देशराज कालोनी में आईटीआई की छात्रा को गोली मारकर खुद के दिल में गोली मार ली। युवक की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि आईटीआई छात्रा के कमर से पेट तक गोली छूते ही गुजर गई और वह बाल-बाल बच गई। उसे एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
उधर, लड़के के परिजनों ने आईटीआई छात्रा के परिजनों पर बेटे की हत्या कराने का आरोप लगाया है। हालांकि पुलिस का प्रारंभिक जांच के बाद कहना है कि मामला एकतरफा प्रेम का है और युवक ने पहले छात्रा पर फायर किया और फिर खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली। बुधवार शाम करीब छह 20 वर्षीय आईटीआई छात्रा करनाल से पढ़कर देशराज कालोनी स्थित अपने घर लौट रही थी।
इसी दौरान देशराज कालोनी में बाल संस्कृति स्कूल के पास 21 वर्षीय रामकिशोर निवासी गांव काबड़ी बाइक से आया और उसे गोली मार दी। छात्रा के मुताबिक उसे पीछे से गोली मारी गई। गनीमत रही कि गोली उसे छूकर निकल गई।
छात्रा को गोली मारने के तुरंत बाद रामकिशोर ने एक और कट्टा निकाला और अपनी छाती पर रखकर दिल में गोली मार ली। इससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई। आईटीआई छात्रा को जिस गली में गोली मारी गई। वहीं उसकी सहेली रहती थी। सहेली और एक राहगीर रिक्शे पर बैठाकर उसे अस्पताल लेकर गए, जहां उसका उपचार शुरू हुआ।
डीएसपी सतीश गौतम ने बताया कि मौके से 315 बोर के दो कट्टे और एक बाइक बरामद हुई है। युवक की मौत हो चुकी थी। उसके शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। फिलहाल मामले की जांच की जा रही है। यह अभी साफ नहीं हुआ है कि युवक ने छात्रा को गोली मारने के बाद खुद को गोली क्यों मारी।
सिरफिरा आशिक ने खुद मरने व युवती को मारने का इरादा कर लिया था। इसी के चलते बुधवार शाम करीब 6 बजे जब युवती अपने घर पर जा रही थी, तो वह बाइक से वहां आया। उसके पास दो कट्टे थे। उसने एक कट्टे से युवती को पीछे से गोली मारी, जो गोली युवती के कमर से पेट तक होते हुए बाईं तरफ छूकर चली गई। इसके बाद सिरफिरे ने दूसरे कट्टे से खुद को दिल में गोली मार ली। वारदात के बाद से पुलिस को शव के पास से दो कट्टे बरामद हुए हैं।
एक सप्ताह पहले दी थी जान से मारने की धमकी
घायल युवती ने बताया कि आरोपी उसे करीब एक साल से परेशान कर रहा था। वो उसका घर से आईटीआई करनाल तक पीछा कर रहा था। वह हमेशा युवती को कहता था कि वो उसे स्कूल टाइम से फॉलो कर रहा था। वह हमेशा युवती से कहता था कि वो शादी करेगा, नहीं तो वो उसकी शादी कहीं भी नहीं होने देगा।
युवती ने बताया कि वो कई बार दोस्तों के साथ भी उसे रास्ते में रोकता व टोकता था। जिस पर युवती उसके दोस्तों को हमेशा उसे समझाने के बारे में कहती तो वे भी कहते थे कि मानना तो युवती को ही पड़ेगा, क्योंकि वो उसके दोस्त हैं, उसका ही साथ देंगे।
करीब 6 माह पहले युवती ने उसको बताया कि उसका रिश्ता तय हो गया है। इसके बाद से वह बहुत ज्यादा गुस्से में रहने लगा। एक सप्ताह पहले उसने आईटीआई के भीतर ही घुस कर युवती को कहा कि अब वो या तो युवती का अपहरण करवा देगा या उसे जान से मरवा देगा। जिसकी शिकायत उसने टीचर से की तो टीचर ने युवक को धमकाकर वहां से बाहर निकाल दिया।
फौज में जाने की तैयारी कर रहा था रामकिशोर
वारदात की सूचना मिलने पर रामकिशोर के परिजन सामान्य अस्पताल पहुंचे। जहां पहुंच कर उन्होंने डीएसपी सतीश गौतम से मुलाकात कर पूरी घटना के बारे में जानकारी ली। जिस पर परिजनों ने कहा कि रामकिशोर बहुत सहनशील लड़का था, वो आत्महत्या नहीं कर सकता है। परिजनों ने उसकी हत्या करने का आरोप लगाया है।
साथ ही बताया कि वो 4 भाइयों में सबसे छोटा था। उससे दो बड़े भाई अजय व राजेंद्र विवाहित हैं व शैलेंद्र और रामकिशोर अविवाहित थे। अजय ने बताया कि रामकिशोर ने बीए की परीक्षा पास की थी व अब वो फौज में जाने के लिए दिन-रात तैयारी कर रहा था।
बुधवार दोपहर 3 बजे वो भाई की दुकान पर गया व वहां उसने कोल्ड-ड्रिंक पी। इसके बाद वो भाई शैलेंद्र पास गया, जिसने बाइक का चेन सेट ठीक करवाने के लिए रामकिशोर को 1 हजार रुपये दिए। करीब 4 बजे वो घर से निकल गया, जिसकी करीब 7 बजे मौत की सूचना परिजनों को मिली।
आरोपी और न मारे गोली, इसलिए एक घर में छिपी
आंखों में आंसू भरे युवती ने बताया कि आईटीआई से लौट कर वो अपनी सहेली की बीमार मां का हाल जानने के लिए चली गई। जहां से लौटते वक्त उसे सिरफिरे से पीछे से गोली मारी।
एक गोली मारने के बाद आरोपी ने दूसरा कट्टा निकाल लिया। उसके इस रूप को देखकर खून से लथ-पथ हालत में वो नजदीकी एक घर में छिप गई, ताकि सिरफिरा उसे और गोली न मारे।
लेकिन उस घर के लोगों ने उसे ये कहकर बाहर निकाल दिया कि ये पुलिस केस है, वे भी फंस जाएंगे। इसके बाद युवती खून से लथपथ हालत में सड़क पर दर्द से कराहती रही। लेकिन किसी ने भी उसकी मदद नहीं की। गोली की आवाज सुनकर मौके पर उसकी सहेली पहुंची, जिसने युवती को वहां से उठाया व उसे एक राहगीर की मदद से रिक्शा से देवी मंदिर रोड एक निजी अस्पताल पहुंचाया, जहां वो उपचाराधीन है।