नई दिल्लीः ममता बनर्जी को उस समय बड़ा झटका लगा जब पश्चिम बंगाल के तीन विधायक और 50 से अधिक पार्षद आज भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गए। भाजपा में शामिल होने वाले विधायकों में से एक विधायक तृणमूल कांग्रेस का दामन छोड़कर भाजपा में शामिल होने वाले मुकुल रॉय के बेटे सुभ्रांग्शु रॉय हैं। अन्य दो विधायक बिष्णुपुर से (तृणमूल विधायक) तुषार कांति भट्टाचार्य और माकपा के देबेंद्र राय हैं। राय बीजपुर विधानसभा का प्रतिनिधित्व करते हैं।
मुकुल रॉय जो कभी ममता के दाहिने हाथ हुआ करते थे लेकिन शारदा घोटाले में नाम आने और जांच के लिए केंद्रीय एजेंसियों के प्रेशर के आगे ऐसे टूटे कि ममता को बंगाल से जड़ से उखाड़ने में बीजेपी के सबसे बड़े हथियार बन गए हैं। मुकुल रॉय ने 2018 में बीजेपी का झंडा थाम लिया था और अब उनके बेटे सुभ्रांशु रॉय मोदी नाम के नारे को बुलंद करने वाले हैं। इन लोगों का भाजपा कार्यालय में भाजपा के वरिष्ठ नेता कैलाश विजयवर्गीय ने नारों के बीच स्वागत किया।
इस दौरान कैलाश विजयवर्गीय ने कहा ‘जिस तरीके से पश्चिम बंगाल में सात चरणों में चुनाव हुए उसी तरीके से यहां सात चरणों में लोगों को पार्टी में शामिल करवाएंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने भाषण में कहा था कि 40 विधायक हमारे संपर्क में हैं और कभी भी पार्टी में शामिल हो सकते हैं। आज उसका पहला चरण है।’